(पब्लिक स्टेटमेंट न्यूज़ से दिग्विजय सिंह की रिपोर्ट) 24/10/2020 कानपुर: भारतीय पीड़ित अभिभावक महासंघ, उन्नाव अभिभावक संघ, फलक एजुकेशनल एंड चैरिटेबल ट्रस्ट एवं मायरा फाउंडेशन ट्रस्ट के सदस्यों ने अनूठा प्रदर्शन किया। कुंभकरण के दिल की बात को राकेश मिश्रा,नवीन अग्रवाल,सुनीत तिवारी संजीव चौहान,एड मीनाक्षी गुप्ता, पंकज यादव,शबाब हुसैन ने संयुक्त रूप से बताया कि तुम लोग वोट दे सकते हो लेकिन निजी विद्यालय मुझे नोट भी देते हैं। वह पार्टी फंड में पैसा देने के साथ वह मुझे व्यक्तिगत कोष में भी लक्ष्मी प्रदान करने के साथ-साथ चुनाव का प्रबंधन करते हैं इसलिए तुम ऐसा मत सोचो कि मै सो रहा हूं, मैं सोने का नाटक कर रहा हूं। जब मैं चलचित्र गृहों का कर माफ कर सकता हूं तो तुम्हारे बच्चों का शुल्क भी माफ कर सकता हूं,परंतु करूंगा नहीं।तुम केवल वोट देने के लिए बने हो। कार्यक्रम में प्रमुख रूप से सहयोग रहा सुमित गौड़,राजेश गौड़ ,एड मधु यादव, एड विवेक सक्सेना ,विवेक दुबे, रमाकांत,हरिशंकर प्रजापति, आशीष शुक्ला, वसीम अहमद इत्यादि।
1- वर्तमान शैक्षणिक वर्ष को जीरो सत्र घोषित किया जाए।
2-उन्नाव विरेंद्र स्वरूप एजुकेशन सेंटर में अध्ययनरत छात्र दिव्यांश सिंह के पिता द्वारा जो मुकदमा कक्षा अध्यापक के विरुद्ध पंजीकृत कराया गया है उस प्रथम सूचना रिपोर्ट में प्रबंधक एवं प्रधानाचार्य के विरुद्ध हत्या की धाराओं में अभियोग पंजीकृत कराए जाने का कष्ट करे क्योंकि आत्महत्या के लिए कक्षा अध्यापक के साथ-साथ प्रबंधक एवं प्रधानाचार्य भी दोषी है।
3-डीएफआरसी की तत्काल बैठक सुनिश्चित की जाए एवं अप्रैल मई-जून की संपूर्ण फीस माफ की जाए।
4-राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय के तर्ज पर ऑनलाइन शिक्षा का शुल्क निजी विद्यालयों द्वारा लिया जाए।
5-जो विद्यालय वार्षिक 20000 से अधिक किसी भी मद में शुल्क ले रहे हैं उनकी ऑडिटेड बैलेंस शीट उपलब्ध कराई जाए।
6-फीस न दे पाने के कारण फांसी के फंदे पर झूल गए आनंद नगर,लाल बंगला, कानपुर निवासी स्वर्गीय राकेश व अर्चना के बच्चों को 10,000000 रुपए का फिक्स डिपाजिट व शेष बचे एक अभिभावक के लिए सरकारी नौकरी की मांग
7-बिल्ला बांग कैगरू किड्स स्कूल 15/63, सिविल लाइन कानपुर एवं द कंगारू किड्स प्रीस्कूल एंड क्लब 133/59 बी जूही किदवई नगर हमीरपुर रोड जोकि जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी द्वारा अपने पत्र के माध्यम से स्वयं अमान्य विद्यालय बताया गया है उसके विरुद्ध अभियोग पंजीकृत कराते हुए शास्ती वसूलने का कष्ट करें।
8. जिला विद्यालय निरीक्षक कानपुर को निर्देशित किया जाए की समस्त निजी विद्यालय की वास्तविक ट्यूशन शुल्क जिसे वह पिछले साल में अभिभावकों से लेते आए हैं उसी शुल्क का स्पष्ट उल्लेख कराया जाए।
9. 19 अक्टूबर से निजी विद्यालय खोलने हेतु उनके द्वारा अभिभावकों की अपने बच्चों को स्कूल भेजने की जो स्वीकृति मांगी जा रही है ,उस विषय पर निजी विद्यालयों को भी जिम्मेदारी के दायरे में लाया जाए और निजी विद्यालयो द्वारा बच्चों की सुरक्षा हेतु और उससे संबंधित तैयारियों के आशय से एक शपथ पत्र लिया जाए ।
10. जो निजी विद्यालय शासनादेश संख्या 1021 /15-7- 2020 -1(20)/2020 दिनांक 4 जुलाई 2020 के बिंदु 8 का उल्लंघन करते हुए छात्रों को ऑनलाइन शिक्षा से हटा रहे हैं या वंचित कर रहे हैं उनके खिलाफ सख्त कार्यवाही की जाए ताकि गरीब बच्चे शिक्षा से वंचित न रह जाए।
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